मंडल के मालगोदामों की सुधरेगी दशा, निजी एजेंसियों से मांगे सुझाव

Update: 2020-09-21 01:00 GMT

ग्वालियर, न.सं.। रेलवे अपने माल गोदामों को निजी क्षेत्र में देने की एक योजना बना रहा है। जिससे मालगोदामों के शेड में नए व्यापार मॉडल के जरिए आय में वृद्धि की जा सके। रेलवे ने आगे आने वाली कंपनियों को आमंत्रित किया है। ये कंपनियां शेड का विकास करने का काम करेंगी और इसके साथ ही वहां मीटिंग स्थल, व्यापारियों के बैठने के लिए जगह भी बनाएंगी। उनके लिए शर्त ये होगी कि वे माल भाड़ा नहीं बढ़ाएंगे और आय में इजाफा करने की दिशा में केंद्रित रहेंगे।

उत्तर मध्य रेलवे प्रयागराज मंडल के बाद अब झांसी मंडल ने भी अपने गुड्स शेड्स की दशा पीपीपी मॉडल से सुधारने के लिए निजी एजेंसियों से प्रस्ताव और सुझाव मांगे हैं। इसमें भीमसेन के साथ ही मंडल के 13 माल गोदाम शामिल हैं। इसके तहत सतह सुधार, बिजली, विश्राम स्थल, पानी निकासी समेत अन्य व्यवस्थाएं की जाएंगी। प्रयागराज मंडल ने सीपीसी और पनकी माल गोदाम के साथ 11 गोदामों के आधारभूत ढांचे में सुधार के लिए पीपीपी मॉडल से प्रस्ताव और सुझाव मांगे थे। अब झांसी मंडल ने भी बीओटी (बिल्ट, ऑपरेट एंड ट्रांसफर) के तहत एजेंसी, कंपनी, ग्राहक व आम लोगों से अभिरुचि की अभिव्यक्ति के तहत प्रस्ताव मांगे हैं। प्रस्ताव देने वालों को माल गोदाम का निरीक्षण कर कमियों का आंकलन, उनके सुधार और खर्च का अनुमान स्वयं लगाना होगा। इसी आधार पर वह रेलवे को प्रस्ताव देंगे। आवेदन करने वालों को यह भी बताना होगा कि आखिर वह रेलवे से खर्च की गई धनराशि कैसे लेंगे? रेलवे ने इसके लिए निवेशक को हिस्सेदारी देने का भी निर्णय भी लिया है।

इन मालगोदाम का होगा विकास

-भीमसेन

-मुरैना

-डबरा

-बिजौली

-उरई

-शनीचरा

-महोबा

-झांसी

-रायरू

-दतिया

-ललितपुर

-हरपालपुर

-बांदा

ये मूलभूत सुधार करने होंगे

- प्लेटफार्म सतह को दुरुस्त करना

- सर्कुलेटिंग क्षेत्र का विकास

- मजदूरों के लिए विश्राम स्थल निर्माण

- व्यापारियों के लिए कक्ष निर्माण

- मुख्य सड़क से माल गोदाम तक संपर्क मार्ग निर्माण

- एनजीटी के प्रविधानों के अंतर्गत अन्य विकास

इनका कहना है

गुड्स शैड मालगोदामों को विकसित करने के लिए अभिव्यक्ति की अभिरुचि आमंत्रित की गई है। 28 सितंबर तक प्रस्ताव मांगे गए हैं।

मनोज कुमार सिंह, जनसपंर्क अधिकारी, झांसी मंडल

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