पूर्व, जौरा, सुमावली, मेंहगांव, मुरैना को लेकर फंसा पेच
दिल्ली में वरिष्ठ नेता कर रहे मंथन
ग्वालियर, विशेष प्रतिनिधि। प्रदेश में विधानसभा उपचुनाव को लेकर कांग्रेस द्वारा जहां 15 प्रत्याशियों की घोषणा की जा चुकी है। वहीं 13 नामों की दूसरी सूची को लेकर बार-बार कयास लगाए जा रहे हैं, किंतु कुछ विधानसभाओं में पेच फंस जाने से सूची घोषित नहीं हो पा रही है।
सूत्रों ने बताया कि पिछले पांच-छह दिन से पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और दिग्विजय सिंह दिल्ली में हैं। उनके साथ प्रदेश प्रभारी मुकुल वासनिक और अहमद पटेल द्वारा शेष बचे टिकटों पर मंथन किया जा रहा है। बताते हैं कि वरिष्ठ नेताओं द्वारा ग्वालियर पूर्व से सतीश सिकरवार का नाम तय माना जा रहा है, किंतु इस नाम उसी शर्त पर मोहर लगेगी जब इसी परिवार के वृंदावन सिंह सिकरवार और मानवेंद्र टिकट न लें। चूंकि जौरा से मानवेंद्र सिकरवार गांधी टिकट के लिए प्रयासरत हैं। जबकि वरिष्ठ नेताओं द्वारा सुमावली से वृंदावन सिंह सिकरवार को टिकट दिए जाने का प्रस्ताव दिया गया है, इसके पीछे वरिष्ठ नेतृत्व का यह तर्क है कि सुमावली से कद्दावर नेता ऐदल सिंह कंसाना का मुकाबला सिकरवार परिवार ही कर सकता है। अजब सिंह कुशवाह उनके सामने मुकाबला करने में असमर्थ हैं। इसलिए अब निर्णय वृंदावन सिकरवार को करना है कि वह टिकट लेते हैं अथवा नहीं। इसी तरह मेहगांव में चौधरी राकेश सिंह और हेमंत कटारे के बीच पेंच उलझा हुआ है। एआईसीसी और कमलनाथ, चौधरी राकेश सिंह को टिकट दिए जाने के पक्ष में है, जबकि दिग्विजय सिंह और गोविंद सिंह विरोध कर रहे हैं। उधर करैरा में प्रागीलाल जाटव का टिकट काटकर शकुंतला खटीक का नाम उभरा है। इसी तरह मुरैना में एक ही परिवार के राकेश मावई और रिंकू मावई के बीच मुकाबला चल रहा है। वैसे राकेश मावई का नाम तय हो रहा था, किंतु दिग्विजय सिंह रिंकू मावई के लिए अड़ गए हैं। यह वही रिंकू मावई हैं, जिन्हें लोकसभा चुनाव के समय ग्वालियर लोकसभा क्षेत्र में अशोक सिंह के पक्ष में एक सभा में सिंधिया के खिलाफ भाषण दिए जाने पर निष्कासित कर दिया गया था। बाद में दिग्विजय सिंह ने उन्हें बहाल कराया।
रामनिवास की अलग ही खिचड़ी
टिकटों के लिए प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष रामनिवास रावत की अलग ही खिचड़ी पक रही है। उनके द्वारा ग्वालियर से सुनील शर्मा का नाम तय कराने के बाद ग्वालियर पूर्व से सतीश सिंह सिकरवार और जौरा से संजय यादव के नामों की पैरवी की जा रही है। ग्वालियर पूर्व से टिकट के लिए युवा कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव मितेंद्र दर्शन सिंह भी दिल्ली में ही डटे हुए हैं।