ट्रेन में सीआरपीएफ जवान की मौत, 300 किमी तक किसी यात्री को नहीं चला पता
झांसी में टीटीई ने जब टिकट मांगा, तो अचेत मिला था जवान
ग्वालियर। ट्रेन के एसी कोच में यात्रा कर रहे एक सीआरपीएफ जवान की मौत हो गई और ट्रेन में मौजूद यात्रियों को काफी देर तक इसकी भनक तक नहीं लगी। मामला केरला एक्सप्रेस का है, जिसके एसी कोच में जवान यात्रा कर रहा था। इसी दौरान जवान की सीट पर मौत हो गई लेकिन पास बैठे यात्रियों को इसकी भनक तक नहीं लगी। लोगों को लगा कि वो सीट पर सो रहा है।
इस दौरान ट्रेन ने करीब 300 किलोमीटर की दूरी तय कर ली और युवक का शव वैसे ही सीट पर पड़ा रहा। जब ट्रेन झांसी पहुंची तो टीटीई ने जब जवान उठाने की कोशिश की तो वह उठा ही नहीं। जिसके बाद टीटीई ने मामले की जानकारी कंट्रोल को दी। ट्रेन के ग्वालियर पहुंचने पर शव को उतारा गया व मामले की जानकारी सीआरपीएफ कैंप में दी। जीआरपी ने मामले को जांच में लेकर शव विच्छेदन करवाकर शव सीआरपीएफ के सुपुर्द कर दिया है।
जानकारी के अनुसार सीआरपीएफ सिपाही प्रसीथ वी- निवासी पल्लकड़ केरला एक्सप्रेस के बी-6 की सीट नम्बर 69 पर दिल्ली की यात्रा कर रहे थे, यात्रा के दौरान ही उनकी मौत हो गई। लेकिन किसी भी यात्री को यह तक पता नहीं चला कि जवान की मौत हो गई है। ट्रेन जब झांसी पहुंची तो झांसी में टीटीई ने जब टिकट के लिए उन्हें उठाने की कोशिश की तो उनके शरीर में कोई हलचल नहीं हो रही थी। जिसके बाद टीटीई ने मामले की कंट्रोल को दी।
सूचना मिलने पर ग्वालियर डिप्टी एसएस अखिलेश तिवारी ने सीआरपीएफ, जीआरपी व आरपीएफ के साथ चिकित्सक को सूचना दी। ट्रेन के आने पर रेलवे चिकित्सक ने शव का परीक्षण किया। जिसमें बताया गया कि संभवत: मौत छह घंटे पहले ही हो चुकी है। जीआरपी के प्रधान आरक्षक श्याम सिंह ने बताया कि शव का शव विच्छेदन कर शव को सीआरपीएफ के सुुपुर्द कर दिया है। जवान शव को लेकर दिल्ली के लिए रवाना हो गए है। दिल्ली से एयर एम्बुलेंस के जरिए शव को केरल उनके घर भेजा जाएगा।
शव उतारने के लिए नहीं मिले कर्मचारी
रेलवे चिकित्सक की जांच के बाद जब पता चला कि जवान की मौत हो चुुकी है। तो मौके पर कोई भी कर्मचारी शव को उतारने के लिए तैयार ही नहीं था। बाद में जीआरपी जवानों ने कुछ कर्मचारियों को अंदर भेेजा व उसके बाद शव को कोच से नीचे उतारा।