भोपाल। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वार कल शाम लॉकडाउन 4 के नए स्वरुप में होने की बात कही थी। जिसके बाद सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा की प्रदेश में 17 मई से लॉक डाउन 4 शुरू हो जाएगा। उन्होंने कहा की प्रदेश में सरकार द्वारा तीनों जोन के जिले में कुछ रियायत मिल सकती है।इसके लिए कलेक्टरों से रूपरेखा तैयार करने को कहा है।
सीएम ने अधिकारीयों को निर्देश दिए हैं की तीनो जोनों के हिसाब से अलग-अलग योजना तैयार करने के लिए कहा है। सीएम ने कहा की एक तरफ जहां हमें कोरोना संक्रमण की चेन को तोड़ना है।वहीं दूसरी तरफ हमें जनजीवन के साथ-साथ आर्थिक गतिविधियों को भी पटरी पर लाना है। इसलिए ऐसी योजना बनाई जाए। जिससे लोगों को परेशानी भी नहीं हो और कोरोना चेन को रोका जा सके।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा है कि कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए लॉकडाउन बना रहेगा मगर इस बार उसका स्वरूप अलग होगा।वहीँ उन्होंने सलाह देते हुए बताया की पूरे प्रदेश में रात्रिकालीन कर्फ्यू जारी रहना चाहिए। ग्रीन जोन में सभी गतिविधियां चालू रहें। ऑरेंज जोन में संक्रमित क्षेत्र छोड़कर गतिविधि चालू होनी चाहिए। रेड जोन में संक्रमित क्षेत्र को छोड़कर गतिविधियां सामान्य हो सकती हैं।
कोरोना के साथ जीना होगा-
मुख्यमंत्री ने कहा कि अभी कोरोना संकट कुछ और समय चल सकता है। ऐसे में हमें कोरोना के साथ जीने की आदत डालनी होगी। दो गज की दूरी, मास्क का प्रयोग और पूरी सावधानियां रखते हुए एक तरफ कोरोना के संक्रमण को रोकना होगा, तो दूसरी तरफ आर्थिक गतिविधियां भी करनी होंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना से बचाव के लिए हमें अपनी रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाना होगा। आयुर्वेदिक दवाओं के प्रयोग से इसे बढ़ाया जा सकता है।गांव-गांव में हमारे आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, एएनएम, पटवारी, पंचायत सचिव लोगों को जागरुक कर रहे हैं।
वित्तीय संकट बड़ी चिंता-
सीएम चौहान ने वित्तीय स्थिति पर चिंता जताते हुए कहा कि इस समय केन्द्र और राज्य दोनों पर वित्तीय संकट है।कर भी नहीं मिल रहे है। इसके बावजूद केन्द्र सरकार ने राज्य को मनरेगा के 661 करोड़ और एनडीआरएफ की 910 करोड़ की राशि भिजवाई है। राज्य के लिए यह बड़ी मदद है। मजदूरों को लाने के लिए ट्रेन का 85 प्रतिशत खर्चा केन्द्र सरकार दे रही है। हमने प्रदेश में मनरेगा समेत विभिन्न प्रकार के निर्माण कार्य शुरू करके मजदूरों को रोजगार दिया है।वहीँ छोटे, कुटीर और ग्रामीण उद्योगों को बढ़ावा दिया जा रहा है।
मजदूरों एवं श्रमिकों के लिए सरकार की व्यवस्था-
मुख़्यमंत्री चौहान ने ताया कि प्रवासी मजदूरों को प्रदेश लौटाने का कार्य तेज़ी से जारी है। उन्हें लेकर 31 ट्रेन प्रदेश आ गई हैं। आगे और ट्रेन मजदूरों को लेकर आती रहेंगी। इसके साथ दूसरे प्रदेशों के मजदूर भी लौट रहे हैं। हमने प्रदेश में ऐसी व्यवस्था की है कि कोई भी मजदूर भूखा नहीं सोयेगा। उन्होंने मजदूरों से आग्रह किया है कि वे पैदल नहीं चले। बाहर के मजदूरों को बसों के जरिए प्रदेश की सीमा पर छोड़ा जा रहा है। इसके लिए राज्य सरकार द्वारा 375 बसें लगाई गई हैं। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि हमने अपने मजदूरों के हितों को सुरक्षित रखते हुए श्रम कानून में परिवर्तन किया है। अब विभिन्न प्रकार के रजिस्टर्स के स्थान पर एक रजिस्टर रखने, एक रिटर्न भरने और सिंगल विंडो की सुविधा मिलेगी। यही श्रम सुधार मध्यप्रदेश में उद्योगों को आकर्षित करने में सहायक होंगे।