जनसुनवाई में भू माफिया से परेशान युवकों ने अत्म हत्या करने की दी धमकी
जनसुनवाई में नहीं हो रहा फरियादियों की समस्याओं का समाधान, काट रहे चक्कर
ग्वालियर, न.सं.। आमजन की समस्याओं के समाधान किए जाने के लिए कलेक्ट्रेट में प्रत्येक मंगलवार को जनसुनवाई तो आयोजित की जाती है, लेकिन फरियाद लेकर पहुंचने रहे ज्यादातर फरियादियों की समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है। नतीजा एक समस्या के निदान के लिए बार-बार जनसुनवाई में पहुंचना पड़ रहा है। यही कारण है कि कई चक्कर काटने के बाद भी जब भू माफिया पर कार्रवाई नहीं हुई तो करीब चार से पांच युवक जनसुनवाई में पहुंचे और हत्महत्या करने की बात कहने लगे। दरअसल ग्वालियर और मुरैना की सीमा पर बसे निरावली मांगुपुरा, कालीन का पुरा, तिलघना सहित आठ गांवों का रास्ता जाता है। लेकिन शासकीय जमीन पर बने आम रास्ते पर दीवान सिंह रावत द्वारा अवैध अतिक्रमण किया हुआ है। जिसको लेकर गांव के भूपेन्द्र सिंह रावत, पुष्पेन्द्र यादव, मिट्टन सिंह सहित अन्य चार लोग जनसुनवाई में आवेदन लेकर पहुंचे और एडीएम एच.बी. शर्मा को आवेदन देकर कहा कि गांव वालों के आम रास्ते पर दीवान सिंह रावत द्वारा अवैध अतिक्रमण कर लिया है, जिस कारण गांव के लोगों को आने-जाने में बहुत परेशानी हो रही है। जिसकी कई बार जनसुनवाई में कर चुके हैं। युवकों ने एडीएम से यह तक कह दिया कि अगर गांव का रास्ता नहीं खोला गया तो वह आत्म हत्या करने को मजबूर होंगे, जिसकी जिम्मेदारी अधिकारियों की ही होगी। यह सुन एडीएम ने मौके पर भी संबंधित एसडीएम को बुला लिया। युवकों ने एसडीएम पर भी आरोप लगाए कि पूर्व में जिलाधीश के आदेश पर ही अतिक्रमण हटावा कर रस्ते पर मुरम डलवाई थी और फिर एसडीएम के आदेश पर भी रास्ते को बंद कर दिया गया। जिसको लेकर युवकों का एसडीएम के साथ मुंहबाद भी हुआ, लेकिन एडीएम के हस्तक्षेप पर युवक शांत हुए। इसी तरह एक अन्य एक अन्य बुजुर्ग भी निरावली गांव से पहुंचा और आम रास्ते पर बने कुंए पर अतिक्रमण कर मकान बना लिया है। जिसकी शिकायत वह पिछले छह माह से जनसुनवाई में कर रहे हैं, लेकिन आज दिन तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके अलावा जनसुनवाई में लगभग 85 आवेदन दर्ज किए गए। साथ ही लगभग डेढ़ दर्जन आवेदन निराकरण के लिए विभागीय अधिकारियों को सौंपे गए।
अधिकारियों के सामने फूट-फूट कर रोने लगी महिला
जनसुनवाई में वार्ड क्रमांक 28 भीमनगर थाटीपुर की आशा कार्यकर्ता किरन कुशवाह अपनी फरियाद लेकर पहुंची और अधिकारियों के सामने फूट-फूट कर रोने लगी। महिला का कहना था कि उनके अक्टूबर 2022 से मार्च 2023 तक कार्य करने के बाद बाऊपर सीएमएचओ कार्यालय में पदस्थ राकेश गोस्वामी को दिए थे। लेकिन राकेश गोस्वामी द्वारा उनका भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिसके लिए वह जनुवाई में तीन से चार बार शिकायत भी कर चुकी हैं। इस पर एडीएम एच.बी. शर्मा ने मौके पर भी स्वास्थ्य अधिकारियों को बुलाया और महिला का भुगतान कराने के निर्देश दिए।
जिलाधीश को ढूंढते रहे फरियादी
जनसुनवाई में कई फरियादी यह सोचकर पहुंचते हैं कि वह जिलाधीश से मिलकर अपना आवेदन देंगे। लेकिन जिलाधीश अक्षय कुमार सिंह को फरियादी ढूंढते रहते हैं। क्योंकि जिलाधीश जनसुनवाई में पहुंचते ही नहीं है, ऐसे में कई लोग बिना अवेदन दिए निरास होकर लौट जाते हैं।