SDOP संतोष पटेल की पहल से गरीब युवक को मिलेगी रोशनी, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह की पत्नी करेंगी मदद
SDOP संतोष पटेल पकडऩे गए थे छेड़छाड़ का आरोपी, दिव्यांग पर पड़ गई नजर
ग्वालियर/वेब डेस्क। अक्सर लोगों की राहचलते मदद करने वाले घाटीगांव एसडीओपी संतोष पटेल की दरियादिली से एक आदिवासी युवक को अपनी खोई हुई आंखों की रोशनी तो वापस मिलेगी ही साथ ही पीडि़त परिवार का आयुष्मान कार्ड बनाकर उपचार की व्यवस्था की गई है। सोशल मीडिया पर जैसे ही आदिवासी युवक की दयनीय हालत और आंखों की रोशनी चले जाने का मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी श्रीमति साधना सिंह को पता चला तो उन्होंने जयारोग्य चिकित्सालय अधीक्षक आरकेएस धाकड़ को फोन पर उपचार करने के निर्देश दिए।
पनिहार थाना क्षेत्र स्थित क्रेशर कॉलोनी निवासी इंदरसिंह पुत्र अतरसिंह आदिवासी 30 वर्ष की आंखों की रोशनी और सुनने की शक्ति चली गई थी। घाटीगांव एसडीओपी संतोष पटेल ने गरीब आदिवासी इंदरसिंह की दयनीय हालत को देखा तो उनसे रहा नहीं गया और उन्होंने स्वयं अपने स्तर पर जेएएच अधीक्षक डॉ. आरकेएस धाकड़ से बात कर इंदरसिंह के उपचार की गुहार लगाई और उसका वीडियो बनाकर उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। मंगलवार को सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो को जब मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी श्रीमति साधनासिंह के जैसे ही संज्ञान में आया उन्होंने एसडीओपी संतोष पटेल से फोन पर सम्पर्क किया और साथ ही जयारोग्य चिकित्सालय अधीक्षक आरकेएस धाकड़ को फोन कर इंदरसिंह आदिवासी के उपचार की समुचित व्यवस्था करने के बारे में कहा। स्वयं एसडीओपी अपनी गाड़ी से इंदरसिंह व उनके परिवार को जेएएच लेकर आए और उसे एक हजार बिस्तर में भर्ती कराया गया। साथ ही इंदरसिंह के परिवार का अयुष्मान कार्ड भी बनवा दिया गया है। आदिवासी युवक के वृद्ध पिता अतरसिंह व मां सरजूबाई ने साधना सिंह को धन्यवाद दिया है। इंदरसिंह का परिवार प्रदेश के मुखिया व एसडीओपी घाटीगांव संतोष पटेल के सराहनीय कार्य से फूले नहीं समा रहा है।
पकडऩे गए थे छेड़छाड़ का आरोपी, दिव्यांग पर पड़ गई नजर
पुलिस अधीक्षक राजेश सिंह चंदेल ने दो दिन पहले पनिहार थाने का निरीक्षण करने के दौरान थाना प्रभारी को साफ निर्देश दिए थे कि महिला स्वास्थ्य कर्मी के साथ छेड़छाड़ करने वाले को किसी भी सूरत में पकड़ो। स्वयं एसडीओपी सोमवार को क्रेशर कॉलोनी नया गांव में टपरों पर आरोपी की तलाश करने गए थे। तलाशी के दौरान संतोष पटेल की एक युवक पर नजर पड़ी जो हाथ पैर से हट्टा-कट्टा होन के बाद भी पानी दे दो चिल्ला रहा था। जब पास जाकर इंदरसिंह से हाथ पैर से स्वस्थ्य होने के बाद भी पानी मांगने ेके बारे में पूछा और जब सच्चाई पता चली तो संतोष पटेल हैरान हो गए। इंदरसिंह की चार माह पहले काम करने के दौरान उसकी आंखों की रोशनी चली गई और सुनाई भी नहीं दे रहा था। युवक का दर्द देखकर पुलिस अधिकारी से रहा नहीं गया और उन्होंने दो लाख रुपए देने में असमर्थ इंदरसिंह की मदद करने का बीड़ा उठाया और आज इंदरसिंह की मदद के लिए मुख्यमंत्री स्वयं आगे आते हुए हर संभव उपचार की व्यवस्था के आदेश कर दिए हैं।
पिता की आंखों में आए आंसू
जब एसडीओपी संतोष पटेल इंदर उसके पिता अतरसिंह व मां सरजूबाई को सरकारी वाहन से लेकर जयारोग्य चिकित्सालय आ रहे थे। रास्ते में अतरसिंह के आंखों से आंसू निकल आए। उन्होंने हाथ जोडक़र साधना सिंह का आभार व्यक्त किया। बता दें मंगलवार को मुख्यमंत्री के पुत्र का जन्मदिन भी है।
इनका कहना है
इंदर को बेहतर उपचार मिलने लगा है। स्वयं शिवराज सिंह चौहान और उनकी पत्नी साधना सिंह ने स्वयं इंदर के इलाज की जिम्मेदारी ली है।
संतोष पटेल, एसडीओपी घाटीगांव