MP News: सात साल की मासूम से रेप के आरोपी को 3 बार मृत्युदंड, अदालत ने कहा - पीड़िता बच जाती तो उसका जीवन कष्टदायक हो जाता
इंदौर (स्वदेश समाचार):-जिला कोर्ट इंदौर ने साल 2025 मे पहले मृत्युदंड की सजा से एक दुष्कर्मी को दण्डित किया वहीहोगा। र्ट ने पीड़ित बच्ची को पांच लाख की प्रतिकर राशि दिलाये जाने की अनुशंसा भी की ।
प्रकरण के अनुसार थाना हीरा नगर इंदौर को मासूम के साथ हुए अपराध की सुचना मिलने पर पुलिस एम वाय अस्पताल पहुंची, पीड़ित बच्ची के इलाजरत होने के चलते पुलिस ने उसकी माँ से घटना के बारे मे पूछा तो उन्होंने बताया कि वह इंदौर मे परिवार के साथ झोपडी मे रहती है उसके पति व उसकी दो लड़किया जिसमे बड़ी लड़की की उम्र 6 साल व छोटी की डेढ़ साल है । 27 फरवरी 2024 को घटना वाले दिन वह खुले मे झोपडी के पीछे कपडे धो रही थी उस समय उसकी बड़ी लड़की झोपडी के पास ही खेल रही थी उसके पति व छोटी बेटी झोपड़ी के अंदर थे।
कपडे धोने के बाद उसने बड़ी बेटी को देखा तो वह नहीं दिखी तभी उसने बड़ी बेटी के रोने चिल्लाने की आवाज सुनी तो वह झोपडी से रोड के उस पार खाली प्लाट पर गई तो उसने देखा एक लड़का उसकी बड़ी बेटी के साथ दुष्कर्म कर रहा था जब वह उस लड़के पर जोर से चिल्लाई तो आसपास के लोग घरों से बाहर आ गए तो वह लड़का भागने लगा जिसे कॉलोनी के लोगो ने पकड़ लिया व पुलिस को सौंप दिया। घायल बच्ची को वह एम वाय अस्पताल ले आये । पुलिस ने मासूम के दुष्कर्मी आरोपी मंगल पंवार पिता लाल सिंह पंवार को गिरफ्तार कर पॉक्सो एक्ट की धारा मे प्रकरण दर्ज कर कोर्ट मे पेश किया, अभियोजन ने मामले मे एक साल के भीतर कोर्ट मे ट्रायल पूरा कराया | विशेष न्यायाधीश(पॉक्सो एक्ट) सविता जड़िया ने ने आरोपी को तिहरे मृत्युदण्ड व एक हजार रुपयों के जुर्माने की सजा सुनाई | प्रकरण मे शासन की और से पैरवी प्रभारी जिला लोक अभियोजन अधिकारी संजय मीणा ने की ।
पीड़िता बच जाती तो उसकी जिंदगी कष्टदायक हो जाती- कोर्ट
कोर्ट ने अपने महत्वपूर्ण निर्णय मे लिखा कि जो पीड़िता है वह दुष्कर्म के बाद यदि जीवित रह जाती तो उसकी जिंदगी मृत्यु से भी कष्टदायक हो जाती है और उसे जीवन भर की पीड़ा होती है ऐसी दशा मे आरोपी द्वारा किये गए क्रूरतापूर्वक बलात्संग जिसमे बच्ची की उम्र मात्र 7 बर्ष थी आरोपी द्वारा उसको गंभीर छति पहुंचाई गई उससे उसकी मानसिकता को देखते हुए भविष्य मे भी वह इस प्रकार का अपराध कर सकता है इसलिए ऐसे आरोपी को पॉकसो एक्ट की मंसा के अनुरूप मृत्यु दण्ड से ही दण्डित किया जाना उचित होगा।