इंदौर: RSS प्रमुख मोहन भागवत ने बताया आखिर क्यों शुरू किया मंदिर आंदोलन, कहा - गरीबी हटाओ के नारे से कुछ हुआ क्या?
इंदौर, मध्य प्रदेश। सरसंघचालक मोहन भागवत बीते दिनों मध्यप्रदेश के दौरे पर थे। वे इंदौर में आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए मध्यप्रदेश आए थे। उन्होंने कार्यक्रम में लोगों को सम्बोधित करते हुए बताया कि, आखिर क्यों राम मंदिर आंदोलन शुरू किया गया था। आरएसएस प्रमुख भागवत ने इसी कार्यक्रम में यह भी कहा कि, सालों तक हमने गरीबी हटाओ और समाजवाद की बात की लेकिन उससे कुछ हुआ क्या।
RSS प्रमुख मोहन भागवत ने कहा, "हमारी 5000 साल की परंपरा क्या है? जो भगवान राम, भगवान कृष्ण और भगवान शिव से शुरू हुई। वो हमारी अपनी है। हमारे अपने जागरण के लिए एक आंदोलन था। मीटिंग में, कॉलेज के छात्र पूछते थे कि आपने लोगों की आजीविका की चिंता छोड़कर मंदिर क्यों बनाए। तो मैं उन्हें बताता था कि ये 80 का दशक है। 1947, इजरायल और जापान ने हमसे शुरुआत की और वो बहुत ऊंचाइयों पर पहुंचे।"
इस कार्यक्रम से जुड़ा एक वीडियो सामने आया है इसमें सरसंघचालक मोहन भागवत द्वारा कहा गया है कि, "हमने समाजवाद की बात की और सारे नारे दिए लेकिन उससे कुछ हुआक्या ? भारत की आजीविका का रास्ता भी श्री राम मंदिर से होकर जाता है। तो ये पूरा आंदोलन भारत के आत्म जागरण के लिए था। भारत के स्व की जाग्रति के लिए था। अयोध्या में वर्षों से कलह ही जो परंपरा थी उसे ख़त्म करने के लिए वह आंदोलन था। यह सब एक दिन में नहीं होता। बीच में काफी लंबा गैप रहा है तो इसे पूर्ण होने में समय तो लगेगा।"
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने यह भी कहा कि, "भारत की सच्ची स्वतंत्रता, जिसने कई शताब्दियों तक उत्पीड़न का सामना किया था, उस दिन (राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के दिन) स्थापित हुई थी। भारत को स्वतंत्रता मिली थी लेकिन इसकी स्थापना नहीं हुई थी। 15 अगस्त को राजनीतिक स्वतंत्रता मिली हमने संविधान भी बनाया लेकिन उसके भाव के अनुसार हम चले नहीं। जो आवश्यक स्व है वह लिखित रूप में हमने पाया लेकिन मन को उसके लिए तैयार नहीं किया।"