प्रधानमंत्री मोदी ने बांटे 5,000 गांवों में 4 लाख से अधिक लोगों को ई-संपत्ति कार्ड
नईदिल्ली।पंचायती राज दिवस का ये दिन ग्रामीण भारत के नवनिर्माण के संकल्पों को दोहराने का एक महत्वपूर्ण अवसर होता है। ये दिन हमारी ग्राम पंचायतों के योगदान और उनके असाधारण कामों को देखने समझने और उनकी सराहना करने का भी दिन है। ये बात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए स्वामित्व योजना और 4.09 लाख संपत्ति मालिकों को ई-संपत्ति कार्डों के वितरण के शुभारंभ अवसर पर कहीं। स दौरान केंद्रीय पंचायती राज मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर भी मौजूद रहे।
उन्होंने कहा हाल में अनेक राज्यों में पंचायत चुनाव संपन्न हुए हैं और बहुत जगह चल भी रहे हैं इसलिए आज हमारे साथ बहुत से नए साथी भी हैं। मैं सभी नए जनप्रतिनिधियों को भी बहुत-बहुत शुभकामनाएं देता हूं। एक साल पहले जब हम पंचायती राज दिवस के लिए मिले थे, तब पूरा देश कोरोना से मुकाबला कर रहा था। तब मैंने आप सभी से आग्रह किया था कि आप कोरोना को गांव में पहुंचने से रोकने में अपनी भूमिका निभाएं। आप सभी ने बड़ी कुशलता से, ना सिर्फ कोरोना को गांवों में पहुंचने से रोका, बल्कि गांव में जागरूकता पहुंचाने में भी बहुत बड़ी भूमिका निभाई। इस वर्ष भी हमारे सामने चुनौती गांवों तक इस संक्रमण को पहुंचने से रोकने की है।
गांवों को कोरोना से बचाना -
प्रधानमंत्री ने आगे कहा की जो भी गाइडलाइंस समय-समय पर जारी होती हैं उनका पूरा पालन गांव में हो, हमें ये सुनिश्चित करना होगा। इस बार तो हमारे पास वैक्सीन का एक सुरक्षा कवच है। इसलिए हमें सारी सावधानियों का पालन भी करना है और ये भी सुनिश्चित करना है कि गांव के हर एक व्यक्ति को वैक्सीन की दोनों डोज लगे।इस मुश्किल समय में कोई भी परिवार भूखा ना सोए, ये भी हमारी जिम्मेदारी है। कल ही भारत सरकार ने प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत मुफ्त राशन देने की योजना को फिर से आगे बढ़ाया है। मई और जून के महीने में देश के हर गरीब को मुफ्त राशन मिलेगा।
80 करोड़ से ज्यादा को लाभ -
उन्होंने आगे कहा गांव और गरीब को उसके घर का कानूनी दस्तावेज देने वाली बहुत ही बड़ी और अहम योजना स्वामित्व योजना को भी पूरे देश में लागू किया गया है।जिन 6 राज्यों में पिछले साल SVAMITVA योजना शुरू की गई थी, वे पहले से ही परिणाम दिखा रहे हैं। हम पूरे गाँव का ड्रोन सर्वेक्षण कर रहे हैं। लोगों को उचित संपत्ति कार्ड भी दिए जा रहे हैं। 5,000 गांवों में 4 लाख से अधिक लोगों को ई-संपत्ति कार्ड दिए गए हैं।इसका लाभ 80 करोड़ से ज्यादा देशवासियों को होगा। इस पर केंद्र सरकार 26 हजार करोड़ रुपये से अधिक खर्च करेगी।
प्रगति और संस्कृति का नेतृत्व गांव ने किया -
हमारे देश की प्रगति और संस्कृति का नेतृत्व हमेशा हमारे गांवों ने ही किया है। इसीलिए, आज देश अपनी हर नीति और हर प्रयास के केंद्र में गाँवों को रखकर आगे बढ़ रहा है। हमारा प्रयास है कि आधुनिक भारत के गाँव समर्थ हों, आत्मनिर्भर हों।हम यह सुनिश्चित करने की कोशिश कर रहे हैं कि आधुनिक भारत के गाँव आत्मनिर्भर और सक्षम हों। हम पंचायतों की भूमिकाओं को बढ़ावा देने की कोशिश कर रहे हैं और उन्हें फाइबर नेट से जोड़कर डिजिटल बना रहे हैं। जिनकी जो जमीन होती है उसे उनका प्रापर्टी कार्ड संपत्ति पत्र भी दिया जाता है।
विकास का लक्ष्य तय करें -
इस वर्ष हम आजादी के 75वें वर्ष में प्रवेश करने वाले हैं। हमारे सामने चुनौतियां जरूर हैं, लेकिन विकास का पहिया हमें तेज गति से आगे बढ़ाते रहना है। आप भी अपने गांव के विकास के लक्ष्य तय करें और तय समयसीमा में उन्हें पूरा करें। थोड़ी देर पहले ही पांच हजार गांवों में चार लाख से ज्यादा संपत्ति मालिकों को ई-प्रापर्टी कार्ड दिए गए हैं।