Interesting facts about MP: सांस्कृतिक विरासत और प्राचीन ऐतिहासिक स्मारकों के लिए प्रसिद्ध है मध्य प्रदेश, जानिए एमपी के बारे में रोचक तथ्य...
Interesting facts about Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश पर्यटकों के बीच खूब प्रसिद्ध है। प्रदेश की विशेषता निचली पहाड़ियां, विस्तृत पठार और नदी घाटियां हैं। इसकी राजधानी भोपाल है जो झीलों की नगरी से मशहूर है। "भारत के हृदय" में होने के कारण, मध्य प्रदेश हर साल लाखों घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय पर्यटकों को आकर्षित करता है। यह संस्कृति और इतिहास दोनों में धनी है। इसकी सांस्कृतिक विरासत एवं प्राचीन ऐतिहासिक स्मारकों में संरक्षित है। यहां मंदिर, राष्ट्रीय उद्यान और अन्य प्रसिद्ध स्थल हैं, जो इसे एक आदर्श पर्यटन राज्य बनाते हैं। मध्य प्रदेश के जिले इंदौर, जबलपुर, उज्जैन और ग्वालियर जैसे अन्य शहरों में मन को मोहने वाले दृश्य देखने को मिलते हैं। तो चलिए आपको एमपी की कुछ ऐसे तथ्यों से रूबरू कराते हैं जो देश ही नहीं बल्कि पूरे विश्वभर में विख्यात हैं।
मध्य प्रदेश के बारे में रोचक तथ्य
भारत का केंद्र- मध्य प्रदेश भारत का भौगोलिक केंद्र है। जबलपुर के पास करौंधी नामक एक गांव है, जो संभवतः भारत का सटीक केंद्र है।
सांची का महान स्तूप- ईसा पूर्व तीसरी शताब्दी में सम्राट अशोक द्वारा बनवाया गया यह स्तूप भारत की सबसे पुरानी पत्थर की संरचना है। साथ ही इसे यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थलों में शामिल किया गया है। सांची अपने बौद्ध स्मारकों के लिए विश्व भर में प्रसिद्ध है।
राजधानी में बदलाव- आजादी के बाद, नागपुर को मध्य प्रदेश की राजधानी घोषित किया गया था। साल 1956 में राज्य का पुनर्गठन किया गया। मध्य भारत, विंध्य प्रदेश और भोपाल राज्यों को मिला दिया गया और विदर्भ क्षेत्र को हटा दिया गया। तब से भोपाल मध्य प्रदेश की राजधानी है।
कोई समुद्रतट नहीं- मध्य प्रदेश जमीन से घिरा हुआ है, जिसकी सीमाएं 5 राज्यों से मिलती हैं। ये पांच राज्य हैं उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, गुजरात और राजस्थान हैं।
जंगल बुक की प्रेरणा- दिलचस्प बात यह है कि रुडयार्ड किपलिंग को "द जंगल बुक" का विचार कान्हा नेशनल पार्क के जंगलों से मिला। सेटिंग्स, साथ ही परिवेश, भोपाल में पेंच नेशनल रिजर्व से हैं।
उज्जैन- उज्जैन मध्य प्रदेश के सबसे अहम शहरों में से एक है। हिंदू भूगोलवेत्ताओं के लिए, उज्जैन ने चौथी शताब्दी ईसा पूर्व से देशांतर के लिए प्रधान मध्याह्न रेखा के रूप में कार्य किया है। साथ ही, यह भारत के उन 4 शहरों में से एक है जहां कुंभ मेला मनाया जाता है। इसका आयोजन हर 12 साल में एक बार किया जाता है। उज्जैन को "मंदिरों का शहर" भी कहा जाता है क्योंकि इसमें भारत के कुछ सबसे प्रसिद्ध मंदिर हैं। उज्जैन में सांदीपनि आश्रम उस स्थान के रूप में जाना जाता है जहां भगवान कृष्ण ने बलराम और सुदामा के साथ अपनी स्कूली शिक्षा की थी।
खजुराहो के मंदिर- ये मंदिर अपनी कामुक मूर्तियों की रचना के लिए प्रसिद्ध हैं। विश्व भर से सैलानी इन मंदिरों को देखने के लिए आते हैं। इन मंदिरों की बाहरी दीवारों पर ये कामुक मूर्तियां उकेरी गई हैं।
कम साक्षरता दर- मध्य प्रदेश के कुछ नकारात्मक पक्ष भी हैं। सबसे प्रमुख है कम साक्षरता दर। राज्य में साक्षरता दर देश की औसत साक्षरता दर से कम है। मध्य प्रदेश के अलीराजपुर में भारत में सबसे कम औसत साक्षरता दर है।
ग्वालियर- इसे मध्य प्रदेश की पर्यटन राजधानी कहा जाता है। इसमें ऐतिहासिक महत्व के कई किले और स्मारक हैं, जो बीते युग का आभास कराते हैं। मुगल सम्राट बाबर ने ग्वालियर किले को "हिंद के किलों में मोती" के रूप में वर्णित किया था। पाटनकर बाजार यहां का एक लोकप्रिय बाजार है, जो पर्यटकों के लिए हस्तशिल्प का एक बड़ा संग्रह पेश करता है।
पचमढ़ी की पहाड़ियां- पचमढ़ी मध्य प्रदेश में स्थित एक बहुत प्रसिद्ध हिल स्टेशन है। इसे "सतपुड़ा की रानी" के नाम से भी जाना जाता है। ऐसा माना जाता है कि इन पहाड़ों को पांडवों ने अपने अज्ञातवास के दौरान बनाया था।
नदियां- नर्मदा नदी भारत की सबसे पुरानी और मध्य प्रदेश की सबसे लंबी नदी है। ताप्ती नदी नर्मदा के समानांतर बहती है। ये दोनों मिलकर पूरे राज्य को लगभग एक चौथाई हिस्से में जल देने का काम करती हैं। यहां की सभी नदियां दक्षिण से उत्तर की ओर बहती हैं।
जनजातीय समूह- भारत में जनजातीय समूहों का प्रतिशत सबसे अधिक मध्य प्रदेश में है। कुछ प्रसिद्ध जनजातियां गोंड, भील, बगिया, भादिया, धार, कौल आदि हैं। इन आदिवासी समूहों में मध्य प्रदेश की 21% आबादी शामिल है।
हीरों का शहर- भारत में हीरों का सबसे बड़ा भंडार मध्य प्रदेश में है। बैतूल जिले में 11 मीट्रिक टन ग्रेफाइट का भंडार पाया गया है।
भेड़ाघाट- नर्मदा के किनारे संगमरमर की चट्टानें मनोरम दृश्य प्रस्तुत करती हैं। यह एक बहुत ही प्रसिद्ध पर्यटन स्थल है। इन संगमरमर की चट्टानों के बीच सैलानी नाव पर सवार होकर यात्रा का लुत्फ उठाते हैं। इसके अलावा यहां डुआंधार झरना भी है, जो धुएं के कारण काफी मशहूर है।
विशाल सड़क और रेल नेटवर्क- बता दें कि, मध्य प्रदेश चारों ओर से भूमि से घिरा हुआ है, यहां बस और ट्रेन सेवाएं कनेक्टिविटी प्रदान करती हैं। इसमें 99,043 किलोमीटर सड़क नेटवर्क और 4,948 किलोमीटर रेलवे नेटवर्क है।